दीवाली के बाद दिल्ली की हवा में जहर घुल गया है। दिल्ली की हालात को देखते हुए पटाखे जलाने पर रोक लगाई गई थी, लेकिन त्योहार के कारण कई इलाकों में लोगों ने बड़े पैमाने पर आतिशबाजी की। इसकी वजह से दिल्ली के कई इलाकों में वायु गुणवत्ता सूचकांक अपने खतरनाक स्तर पर पहुंच गया है।
दिल्ली के कुछ इलाकों में यह 700 के पार तक पहुंच गया है। वहीं कुछ इलाके यह 500 के पार है। इस समय दिल्ली का औसत एक्यूआई 556 दर्ज हुआ है। ऐसे में दिल्ली में चारों तरफ धुंध छाई हुई है, जिससे लोगों का बाहर निकालना मुश्किल हो गया है। वायु की गुणवत्ता बहुत ही खराब है।
दिल्ली और आसपास के क्षेत्रों में वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) के आंकड़े जारी किए गए हैं, जो चिंताजनक हैं। आनंद विहार ने 714 के साथ सबसे खराब वायु गुणवत्ता दर्ज की, जबकि डिफेंस कॉलोनी में AQI 631 रहा। पटपड़गंज में यह आंकड़ा 513, सिरीफोर्ट में 480, और नोएडा में 332 रहा। नजफगढ़ में AQI 282, शहादरा में 183, और गुरुग्राम में 185 दर्ज किया गया। इन आंकड़ों से स्पष्ट है कि शहर की वायु गुणवत्ता गंभीर स्थिति में है, जो स्वास्थ्य के लिए खतरनाक साबित हो सकती है। नागरिकों से सावधानी बरतने की अपील की गई है।
हर साल दीवाली के बाद वायु प्रदूषण की वजह से लोगों को काफी परेशानी होती है। दरअसल, पटाखों में सल्फर डाइऑक्साइड, नाइट्रोजन ऑक्साइड, कार्बन मोनोऑक्साइड और धूल कण होते हैं। यह हवा को बेहद जहरीला बना देते हैं, जिससे इसमें सांस लेना लोगों के स्वास्थ्य के लिए बेहद खतरनाक होता है।